For the money to duplicate in the REET exam but Pappu could not succeed
रीट परीक्षा में नक़ल करने के पैसे लिए, कामयाब नहीं हो पाया पप्पू
कांकाणी के सरकारी स्कूल में अध्यापक
अभ्यर्थियों से एडंवास में लिए तीन से पांच लाख
सालावास क्षेत्र के कई युवाओं को पप्पूसिंह ने प्रतियोगिता परीक्षा उत्तीर्ण करवा सरकारी नौकरियां दिलवाई। आरोपित जोधपुर क्षेत्र के करीब बीस अभ्यर्थियों को रीट परीक्षा उत्तीर्ण करवाने में मदद करने अपने कुछ साथियों के साथ आया था। परीक्षा उत्तीर्ण करवाने के बदले उसने प्रत्यके अभ्यर्थी से एडंवास में तीन से पांच लाख रुपए लिए थे।
कुछ ही सालों में बदल गई लाइफ स्टाइल
पिछले कुछ सालों में आरोपित की लाइफ स्टाइल ही बदल गई। दो-दो कार का उपयोग करना शुरू कर दिया। साथ ही आए दिन भोजन बाहर करना व पार्टी करना उसकी लाइफ स्टाइल में शामिल हो गया। इतना ही नहीं, 2006 से पहले पप्पूसिंह के पास कुछ नहीं था। उसके पिता भी खेती का काम करते थे। लेकिन पप्पूसिंह ने अपने दम पर गांव में दो आलिशान बंगले बना दिए। दोनों बंगलों की कीमत करीब 80-90 लाख के बीच है।
संदेह के घेरे में प्रतियोगी परीक्षा का टॉपर पप्पूसिंह
दसवीं पूरक और 12वीं ग्रेस से उत्तीर्ण करने के बाद कैसे पप्पूसिंह प्रजापत ने नेट जेआरएफ इतिहास विषय, पटवार भर्ती परीक्षा 2008 में प्रथम स्थान प्राप्त किया। इसके अलावा शिक्षक भर्ती परीक्षा 2008 में सातवां स्थान, द्वितीय श्रेणी शिक्षक भर्ती परीक्षा 2011 में प्रथम स्थान, स्कूल व्याख्याता भर्ती परीक्षा 2013 में इतिहास विषय में द्वितीय स्थान और कॉलेज सहायक प्रोफेसर भर्ती परीक्षा 2015 में इतिहास विषय में साक्षात्कार के लिए चयन भी हुआ। इन सफलताओं पर भी अब पुलिस संदेह जता रही हैं।
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