बिलासपुर की इस युवती ने दिखाई हिम्मत तो एक और बाबा पर दर्ज हुआ दुष्कर्म का केस
अलवर। डेरा सच्चा सौदा सिरसा के प्रमुख गुरमीत राम रहीम के बाद ऐसा ही मामला अलवर में और सामने आया है। इस बाबा पर बिलासपुर की युवती ने दुष्कर्म का मामला दर्ज कराया है। मामला होने के बाद से ही फलाहारी महाराज यहां एक निजी अस्पताल के आईसीयू में भर्ती है। बाबा को जैसे ही पता चला कि उसके खिलाफ दुष्कर्म का मामला दर्ज हो गया है और केस डायरी अलवर आ गई है वह पुलिस के आश्रम पहुंचने से पहले ही अस्पतालमें जाकर खुद भर्ती हो गया। लेकिन पुलिस ने अब वहां पहरा बिठा दिया है और किसी को बाबा से मिलने की इजाजत नहीं दी जा रही है।
क्या है मामला
अलवर के कौशलेन्द्र प्रपन्नाचार्य महाराज के खिलाफ बिलासपुर छत्तीसगढ़ की एक युवती ने दुष्कर्म का मामला दर्ज कराया है। मामला बिलासपुर में दर्ज हुआ है और आगे की कार्रवाई के लिए केस डायरी अलवर भिजवाई गई है। अब इस मामले में आगे की कार्रवाई अलवर पुलिस को करनी है। अलवर पुलिस इस मामले में अब पूरी तरह एक्टिव नजर आ रही है।
मधुसूदन आश्रम और दिव्यधाम मंदिर में है बाबा का डेरा
अलवर के इस दुष्कर्म के आरोपित संत का डेरा मधुसूदन सेवा आश्रम और दिव्यधाम मंदिर में है। यहां कालाकुआं स्थित रामकिशन कॉलोनी में वर्ष 2004 में यह मंदिर बनवाया गया था। इस मंदिर में दक्षिण भारतीय पद्धति से पूजा पाठ होता है और दक्षिण भारत के ही कई साधु संत यहां आते हैं। बाबा ने जगदगुरू रामानुजाचार्य स्वामी कौशलेंद्र प्रपन्नाचारी फलाहारी महाराज की उपाधि धारण कर रखी है।
मामले की पूरी जानकारी
बाबा पर आरोप लगाने वाली युवती मूलत: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर की रहने वाली है। इसने अपनी लॉ की पढ़ाई जयपुर में रहकर की और युवती का परिवार करीब ढाई दशक से बाबा के टच में है। इस युवती को बाबा की सिफारिश पर सुप्रीम कोर्ट के एक बड़े वकील के अधीन इंटर्नशिप का मौका मिला था और जब इसकी इंटर्नशिप पूरी हो गई तो युवती को पहली बार तीन हजार रुपए स्टाईपेंड के मिले थे। परिजनों के कहने पर युवती सात अगस्त को यह कमाई बाबा के चरणों में श्रद्धापूर्वक अर्पित करने आई थी। लेकिन बाबा ने उसे प्रसाद के रूप में कुछ खिलाकर उसके साथ दुष्कर्म का प्रयास किया। युवती किसी तरह अपनी जान बचाकर वापिस जयपुर चली गई और ११ सितम्बर को बिलासपुर में पुलिस के सामने बयान देकर मामला दर्ज करा दिया।
आश्रम पर नजरे चौकस
बाबा पर दुष्कर्म का केस होने के बाद से ही रामकिशन कॉलोनी स्थित मंदिर के बाहर बाबा के भक्तों का पहरा सा बिठा दिया गया है। हर आने जाने वालों पर नजर रखी जा रही है। यदि कोई बाबा के बारे में पूछता है तो कहा जा रहा है कि बाबा बीमार है। अस्पताल में भर्ती है। उधर पूरे शहर में इसकी चर्चा तेजी से हो रही है। कुछ लोग बाबा को निर्दोष बता रहे हैं तो कुछ लोगों का मानना है कि केस लगा है तो कुछ बात तो होगी ही । इस मामले की जांच होनी चाहिए।
25 वर्ष पहले बाबा अलवर आया
प्रपन्नाचार्य करीब २५ वर्ष पहले अलवर आया था। तब कथावाचक के तौर पर इसकी पहचान थी। अलवर के एक औद्योगिक घराने की महिला ने बाबा को आश्रय दिया और यहां उनकी काफी मदद की। बाद में वर्ष २००४ में यहां रामकिशन कॉलोनी में दक्षिण भारतीय शैली में मंदिर बनवाने के लिए भी लोगों ने बाबा की मददकी और पूरा सम्मान किया। बाबा आशीर्वाद डंडे से देता है और डंडा अपने पास रखता है। इसे लिए इसे डंडे वाला बाबा भी कहते हैं। बाबा की ओर ये यहां वेद विद्यालय भी चलाया जा रहा है जिसमें बटुक विद्या ग्रहण करते हैं। इस विद्यालय में देशभर के अनेक बच्चे वेदों की शिक्षा ले रहे हैं। यह विद्यालय भी एक बार एक बच्चे के फरार होने जाने के कारण चर्चा में रह चुका है।
इनका कहना है
इस बारे में भाजपा जिलाध्यक्ष पंडित धर्मवीर शर्मा का कहना है कि बाबा को झूठा फंसाया जा रहा है। अलवर पुलिस इस मामले की जांच कर दूध का दूध और पानी का पानी कर देगी। एसपी राहुल प्रकाश का कहना है कि मामले की केस डायरी मिली गई है। उसी आधार पर जांच कर आगे की कार्रवाई की जाएगी। बाबा अभी आईसीयू में भर्ती है। पुलिस का पहरा वहां लगा दिया गया है।
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